ब्लिट्ज ब्यूरो
वायनाड। केरल के वायनाड में आई आपदा ने पूरे देश को झकझोर दिया। भूस्खलन के कारण आई आपदा में तीन सौ से ज्यादा लोगों की मौत हो गई। सेना, राज्य पुलिस और एनडीआरएफ की टीमें दिन रात लोगों को बचाने के लिए अभियान चला रही हैं। वहां सबसे बड़ी समस्या थी संपर्क पुल की जो नष्ट हो गया था । भारतीय सेना ने 31 घंटे बिना रुके 190 फीट ऊंचा बेली ब्रिज तैयार कर दिया और इसके कारण कई लोगों की जान बचाई गईं । जिस टीम ने इस पुल को बनाया उसमें मेजर सीता अशोक शेल्के ने अहम भूमिका निभाई । शेल्के की अब सोशल मीडिया पर लोग जमकर तारीफ कर रहे हैं। मशहूर उद्योगपति आनंद महिंद्रा ने भी मेजर सीता की सराहना की है।
मेजर सीता की भूमिका
आपदा के समय वरदान बने बेली पुल के निर्माण के पीछे भारतीय सेना का इंजीनियरिंग टास्क फोर्स मद्रास इंजीनियर ग्रुप था। इस काम में मद्रास इंजीनियर ग्रुप (एमईजी) एवं सेंटर, बेंगलुरु की महिला सेना इंजीनियर मेजर सीता अशोक शेल्के ने अहम भूमिका निभाई। मेजर सीता ने स्थानीय निवासियों और अधिकारियों से मिले सहयोग की भी सराहना की है।
लक्ष्य था पुल को जल्द से जल्द पूरा करना
35 वर्षीय मेजर ने बताया कि उनका एकमात्र लक्ष्य पुल को जल्द से जल्द पूरा करना था। बहुत सारी चुनौतियां थीं। हमें आकस्मिकताओं से निपटने के लिए प्रशिक्षित किया गया है।
महाराष्ट्र के अहमदनगर की हैं मेजर सीता
मेजर सीता महाराष्ट्र के अहमदनगर के गडिलगांव गांव की रहने वाली हैं।
सीता हमेशा से ही सैनिक बनना चाहती थीं और उन्होंने सेना में करियर बनाने के लिए स्नातक की पढ़ाई के लिए मैकेनिकल इंजीनियरिंग को चुना। सीता ने अपने तीसरे प्रयास में एसएसबी परीक्षा पास की थी। उनकी इंजीनियरिंग की पढ़ाई 2015 में काम आई, जब वह जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 1-ए पर असाइनमेंट के लिए तैनात टीम का हिस्सा थीं।
कोई भी आराम करने या कपड़े बदलने तक नहीं गया
वायनाड में पूरी टीम ने 48 घंटे तक लगातार काम किया और मुश्किल से तीन मिनट का ब्रेक लिया। सीता ने कहा, ‘हम नुकसान और तकलीफ देख रहे थे, आराम नहीं कर सकते थे। सेना के जवान पहले से ही प्रेरित हैं और हम उन्हें प्रोत्साहित करते रहते हैं और उन्हें भाई कहते हैं।’
सभी विपरीत परिस्थितियों को सहन किया
मेजर ने बताया, ‘काम सुबह छह बजे से ही शुरू हो जाता था। काम जारी रखने के लिए टीम ने सभी विपरीत परिस्थितियों को सहन किया। सीता ने कहा, ‘टीम ने कोई समय सीमा तय नहीं की। हमारा ध्यान जल्द से जल्द काम पूरा करने पर था।
त्रासदी पीड़ितों की मदद को आगे आए साउथ के सुपर स्टार
वायनाड में त्रासदी के बाद कई साउथ स्टार्स ने मदद का हाथ बढ़ाया है। मोहनलाल और अल्लू अर्जुन के बाद अब मेगस्टार चिरंजीवी और उनके बेटे राम चरण ने पीड़ितों की मदद के लिए मोटी रकम दान की है।
साउथ के सुपरस्टार मोहनलाल ने 3 करोड़ का दान किया । इसके बाद पुष्पा स्टार अल्लू अर्जुन ने भी 25 लाख रुपये दिए। अब चिरंजीवी और राम चरण ने 1 करोड़ रुपये केरल सीएम रिलीफ फंड में दान किए हैं।
इन सितारों का भी दान
सूर्या, विक्रम, ममूटी और फहाद फासिल ने भी वायनाड पीड़ितों की मदद के लिए दान किया है। विक्रम ने 20 लाख रुपये, ममूटी और उनके बेटे दुलकर सलमान ने 35 लाख रुपये, फहाद फासिल और नजरिया नाजिम ने 25 लाख रुपये, कार्ति के साथ मिलकर सूर्या और ज्योतिका ने 50 लाख और रश्मिका मंदाना ने 10 लाख रुपये सीएम रिलीफ फंड में दान किए।