आस्था भट्टाचार्य
कारगिल। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कारगिल में जवानों के साथ दिवाली मनाई। इस मौके पर उन्होंने कहा कि बिना सामर्थ्य के शांति कायम करना असंभव है। मोदी बोले कि भारत हमेशा शांति के लिए खड़ा रहा है। हमने हमेशा युद्ध को पहला नहीं बल्कि अंतिम उपाय माना है, लेकिन हमारे सशस्त्र बलों के पास देश पर बुरी नजर रखने वाले को मुंहतोड़ जवाब देने की ताकत और रणनीति है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि हम सिविलियन लोगों की दिवाली… हमारी आतिशबाजी अलग होती है पर आपकी आतिशबाजी भी अलग और धमाके भी अलग होते हैं।जवानों से बात करते हुए पीएम मोदी ने रामायण और महाभारत महाकाव्यों का हवाला दिया। बोले- यह भारतीय परंपरा है कि युद्ध चाहे लंका में हुआ हो या कुरुक्षेत्र में, अंतिम समय तक उसे टालने की ही कोशिश की गई। हम विश्व शांति के पक्षधर हैं। उन्होंने कहा कि आज पूरी दुनिया भारत की ओर देख रही है जो एक ‘संतुलन शक्ति’ है। मोदी प्रधानमंत्री बनने के बाद हर साल जवानों के साथ दिवाली मनाते आए हैं। 2014 में पहली बार उन्होंने सियाचिन में सैनिकों के साथ दिवाली मनाई थी। यह लगातार 9वां साल है जब दिवाली पर मोदी जवानों के बीच दिवाली मनाने बॉर्डर पर पहुंचे हैं।
मोदी बोले कि आप सब मेरा परिवार, आपके बीच आकर दिवाली की मिठास बढ़ जाती है
पीएम मोदी ने जवानों से कहा, ‘मेरे लिए तो वर्षों-वर्ष से मेरा परिवार आप ही सब हैं। मेरी दीपावली की मिठास आप के बीच बढ़ जाती है, मेरी दीपावली का प्रकाश आपके बीच है और अगली दिवाली तक मेरा पथ प्रशस्त करता है। शौर्य की अप्रतिम गाथाओं के साथ ही हमारी परंपरा, मधुरता और मिठास भी अहम है। इसलिए भारत अपने त्योहारों को प्रेम के साथ मनाता है। पूरी दुनिया को उसमें शामिल करके मनाता है।’ उन्होंने कहा कि सेना मेरा परिवार है। इससे अच्छी दिवाली और कहां हो सकती है। दिवाली का मतलब- आतंक के अंत का उत्सव।
पीएम मोदी ने जवानों को संबोधित करते हुए कहा कि दिवाली का मतलब है- आतंक के अंत का उत्सव। यही कारगिल ने भी किया था। कारगिल में हमारी सेना ने आंतक के फन को कुचला था और देश में जीत की ऐसी दिवाली मनी थी कि लोग आज भी याद करते हैं। पाकिस्तान के साथ एक भी युद्ध ऐसा नहीं जहां सेना ने जीत का झंडा नहीं फहराया हो।
‘मेरा सौभाग्य था कि मैं उस जीत का साक्षी बना था और मैंने उस युद्ध को करीब से देखा था। मैं यहां के अधिकारियों का आभारी हूं कि उन्होंने मुझे 23 साल पुरानी तस्वीरें दिखाकर वो पल मुझे याद दिलाए। देश के एक सामान्य नागरिक के तौर पर मेरा कर्तव्य मुझे जंग के मैदान तक ले आया था। हम जो भी मदद कर सकते थे, वही करने यहां आए थे। हम बस पुण्य कमाने आए थे।’ पीएम मोदी ने कहा कि आप सीमा पर कवच बनकर खड़े हुए हैं तो देश के भीतर देश के दुश्मनों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई हो रही है..आतंकवाद, नक्सलवाद आदि जो जड़ें बीते वर्षों में पनपी थीं उसे उखाड़ने का सफल प्रयास देश निरंतर कर रहा है। कभी नक्सलवाद ने देश के एक बड़े हिस्से को अपनी गिरफ्त में ले लिया था, लेकिन आज वो दायरा सिमट रहा है।
पिछले साल नौशेरा गए थे पीएम मोदी
2021 में पीएम मोदी जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले के नौशेरा सेक्टर गए थे। उन्होंने सैनिकों को दीपावली की शुभकामनाएं दीं और उन्हें मिठाई भी खिलाई थी।
इस दौरान जवानों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि मैं यहां देश के 130 करोड़ लोगों की दुआ लेकर आया हूं। मोदी ने कहा कि मैं यहां प्रधानमंत्री के तौर पर नहीं, आपके परिवार के तौर पर आया हूं। आपका जो भाव अपने परिवार में जाकर होता है, वही मुझे अनुभव हो रहा है। मैंने हर दिवाली सीमा पर तैनात आप लोगों के बीच मनाने का संकल्प लिया। आज मैं यहां से नई उमंग और नया विश्वास लेकर जाऊंगा। आज शाम हिंदुस्तान का हर नागरिक दिवाली पर एक दिया आपके पराक्रम, शौर्य, त्याग और तपस्या के नाम लगाएगा।