संदीप सक्सेना
नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने आईटी हार्डवेयर पीएलआई के तहत 27 कंपनियों के निवेश प्रस्तावों को मंजूरी दी है। इससे अगले छह वर्षों में आईटी हार्डवेयर की मैन्युफैक्चरिंग बढ़ेगी और बिक्री 3.5 लाख करोड़ पहुंचने की उम्मीद है।
भारत सरकार की ओर से घरेलू मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के लिए चलाई जा रही प्रोडक्ट लिंक्ड इनसेंटिव (पीएलआई) स्कीम के तहत एचपी, लेनोवो और डेल समेत 27 कंपनियों को मंजूरी दे गई है। इसके बाद सरकार द्वारा आईटी हार्डवेयर के लिए लाई गई 17 हजार करोड़ की पीएलआई स्कीम का लाभ इन कंपनियों को मिलेगा। आईटी हार्डवेयर में पीएलआई के लिए सरकार को कुल 40 प्रस्ताव मिले थे। ये जानकारी केंद्रीय आईटी मिनिस्टर अश्विनी वैष्णव ने दी।
आईटी हार्डवेयर में पीएलआई का लाभ पाने वाली कंपनियां भारत में लैपटॉप, पीसी और सर्वर जैसे उपकरण बनाएंगी। इसके लिए कुल मिलाकर 3,000 करोड़ रुपये का निवेश सभी कंपनियों द्वारा किया जाएगा। वैष्णव की ओर से कहा गया कि 27 में से 23 कंपनियां तत्काल प्रभाव से भारत में मैन्युफैक्चरिंग शुरू कर देंगी और बाकी की चार कंपनियों द्वारा 90 दिनों के अंदर प्रोडक्शन शुरू किया जाएगा। अगले छह वर्षों में इस पीएलआई स्कीम के तहत 3.5 लाख करोड़ के प्रोडक्ट बिकने की संभावना है।
3000 करोड़ का होगा निवेश
2 लाख से अधिक लोगों को मिलेगा रोजगार
सरकार को उम्मीद है कि कंपनियों की ओर से निवेश करने के बाद करीब 50,000 लोगों को प्रत्यक्ष और 1,50,000 लोगों अप्रत्यक्ष तौर पर रोजगार मिलेगा। बता दें, पीएलआई स्कीम के दूसरे फेस को इस साल मई में नोटिफाई किया गया था। इसके लिए 17,000 करोड़ रुपये का बजट रखा गया था, जो कि पहले फेस से दोगुना से भी ज्यादा था। इसमें पहले के मुकाबले कहीं अधिक इन्सेंटिव कंपनियों को ऑफर किए गए थे।