लखनऊ। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि यूपी निवेश का सुरक्षित गंतव्य है और रहेगा। यहां आया व आने वाला हर निवेश प्रदेश के विकास में सहायक तो होगा ही, स्वयं निवेशकों के लिए भी काफी फलदायी होगा। समिट के जरिए प्रदेश को दस खरब अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था के रूप में स्थापित करने में मदद मिलेगी।
योगी ने कहा कि प्रदेश के पिछड़े जिलों और कमजोर क्षेत्रों में भी बड़ा निवेश होने जा रहा है। पूर्वांचल के लिए 9.54 लाख करोड़ और बुंदेलखंड में 4.27 लाख करोड़ रुपये के निवेश करार हुए हैं। इन प्रस्तावों को धरातल पर उतारने के लिए मंत्री समूह, अपर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव और उनकी सहयोगी टीम व्यवस्थित रूप से काम करेगी।
समिट बना निवेश का महाकुंभ
मुख्यमंत्री ने कहा कि जीआईएस में 40 देशों के उद्यमी और निवेशक शामिल हुए। नीदरलैंड, जापान, यूके, यूएई, दक्षिण कोरिया, इटली, सिंगापुर, मॉरीशस, डेनमार्क और आॅस्ट्रेलिया पार्टनर कंट्री बने। तीन दिवसीय कार्यक्रम के दौरान 30 सत्र आयोजित किए गए। मुख्यमंत्री ने कहा कि 170 से अधिक निजी और सार्वजनिक कंपनियों, विभिन्न राज्य सरकारों के 40 से अधिक प्राधिकरणों, सौ स्टार्टअप और एमएसएमई ने अपनी सेवाओं और उत्पादों का प्रदर्शन किया है।
समिट में 12 देशों और 17 कंपनियों का प्रतिनिधित्व करने वाले अंतरराष्ट्रीय उद्योग संघ का भी अनुभव मिला। मुख्यमंत्री ने कहा कि समिट के दौरान 500 से अधिक बिजनेस टू गवर्मेंट बैठक, 1100 से अधिक बिजनेस टू बिजनेस बैठक आयोजित की गईं ं। तीन दिवसीय समिट में 25 हजार लोगों ने सहभागिता की है।
समिट की सफलता नई ऊंचाई पर
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि समिट में प्रदेश सरकार को केंद्र सरकार, दस पार्टनर कंट्री का सहयोग मिला। उद्योग जगत से जुड़ी सभी बड़ी संस्थाओं के प्रतिनिधियों के साथ देश के सभी प्रमुख उद्योगपतियों ने सहभागिता कर सफलता की नई ऊंचाई पर पहुंचाने में योगदान दिया। मुख्यमंत्री ने कहा कि सबसे बड़ी कुशल और अकुशल युवा शक्ति भी यहीं है। सरकार ने 25 सेक्टर चिह्नित कर पारदर्शी नीतियां बनाई और उसका परिणाम है कि वैश्विक निवेशक समुदाय यहां निवेश करने को तत्पर है।
पीएम के नेतृत्व में भारत का सम्मान बढ़ा
मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि बीते नौ वर्षों में प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में विश्व में देश का सम्मान बढ़ा है। समिट में उसका लाभ यूपी को मिलता दिखा। वैश्विक व्यापार समुदाय यूपी की ओर आकर्षित दिखाई दिया।
लखनऊ। राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने कहा है कि औद्योगिक विकास के लिए राजनीतिक स्थिरता व निरंतरता सहायक सिद्ध होती है। उत्तर प्रदेश में निवेश के लिए प्रदेश सरकार द्वारा जिस प्रकार प्रक्रियाओं को सरल बनाने के प्रयास किए गए हैं, वे सराहनीय है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में 95 लाख एमएसएमई हैं, जो देश में सर्वाधिक हैं। राष्ट्रपति ऐतिहासिक यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट के समापन समारोह को संबोधित कर रही थीं। इस समिट का शुभारंभ दस फरवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया था।उत्तर प्रदेश को एक ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने में यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट-2023 की अहम भूमिका रहने की संभावना है। इस समिट के जरिये उत्तर प्रदेश में समावेशी विकास के लिए करीब 33 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्तावों के करार हुए जिनसे लगभग 93 लाख नए रोजगार सृजित होंगे।भारत का नया ग्रोथ इंजन यूपी
समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि समावेशी विकास की सोच के साथ आयोजित यूपी ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिति के सार्थक परिणाम आएंगे। उत्तर प्रदेश को विश्वव्यापी ख्याति मिलेगी। दूरदर्शितापूर्ण नीतियों को लागू कर तथा उसके कार्यान्वयन से उत्तर प्रदेश प्रधानमंत्री के विजन के अनुरूप नए भारत का ग्रोथ इंजन बनने में सक्षम है और इसके लिए तैयार भी है। उत्तर प्रदेश समृद्ध होगा तो भारत भी समृद्ध होगा। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट उत्तर प्रदेश को उत्तम निवेश प्रदेश बनाने में सहायक सिद्ध होगा।वृंदावन योजना के वाल्मीकि मेन हाल में उपस्थित देश विदेश के उद्यमियों, निवेशकों, नवाचारियों, नीति निर्माताओं, मंत्रियों, अधिकारियों आदि को संबोधित करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि उत्तर प्रदेश न केवल आबादी के लिहाज से देश का सबसे बड़ा प्रदेश है बल्कि यह देश की अर्थव्यवस्था में भी महत्वपूर्ण योगदान देता है। देश की कई योजनाओं में यह पहले स्थान पर है।खुद को किसान परिवार का सदस्य बताते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि कृषि व कृषि आधारित उद्योगों के विकास के लिए किए जा रहे प्रयासों के लिए वह उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ व उनकी टीम की प्रशंसा करती हैं। राष्ट्रपति ने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था को पांच ट्रिलियन डॉलर बनाने के लक्ष्य में उत्तर प्रदेश ने एक ट्रिलियन डॉलर का योगदान देने का संकल्प लिया है। देश की कुल अर्थव्यवस्था का पांचवां हिस्सा उत्तर प्रदेश से पूरा होगा। राष्ट्रपति ने कहा कि उत्तर प्रदेश में इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट पर काफी काम हुआ है।
केन्द्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि हमें अपने देश को ‘श्री इडियट्स’ जैसा नहीं बनाना है, कोई मां-बाप बेटे को जबरदस्ती इंजीनियरिंग कराए जबकि उसकी दिलचस्पी फोटोग्राफी में हो।
केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने इसे रेखांकित करते हुए कहा भी कि यूपी में जितने निवेश के एमओयू हुए हैं, उतनी कई देशों की जीडीपी नहीं है। यह बात उन्होंने यूपी इंवेस्टर्स समिट में कही।
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा कि उत्तर प्रदेश में बुलेट ट्रेन की गति से काम हो रहे हैं। जी20 की सर्वाधिक बैठकें यूपी में हो रही हैं। यूपी के 150 रेलवे स्टेशन विश्वस्तरीय बनाए जाएंगेे।
केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि योगी के मुख्यमंत्री बनने के बाद उत्तर प्रदेश के विकास में तेजी आई है। जीआईएस का क्रांतिकारी असर बहुत जल्द दुनिया देखेगी।
जीआईएस समिट में केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि भारत दुनिया का स्पोर्ट्स सुपर पावर बनना चाहिए। उत्तर प्रदेश इसे संभव बनाने में गेम चेंजर की भूमिका निभाएगा।
यूके के मिनिस्टर एलेक्स चॉक ने योगी के सामने मुस्कुराते हुए कहा, ‘यूके को यूपी का साथ पंसद है’। यह निवेश के बदले परिवेश की नजीर है। उन्होंने यह बात इंवेस्टर्स समिट में कही।
कुल निवेश का 27 फीसद नोएडा, ग्रेनो के हिस्से में
न ई दिल्ली। ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट से सबसे ज्यादा निवेश नोएडा और ग्रेटर नोएडा को मिला है। यूपी को कुल मिले निवेश का 27 फीसदी सिर्फ नोएडा और ग्रेटर नोएडा को मिला है। नोएडा में 89 हजार और ग्रेटर नोएडा में 87 हजार करोड़ के निवेश प्रस्ताव मिले हैं। रिलायंस, लुलु ग्रुप यहां बड़ा निवेश करने जा रहे हैं। नोएडा, ग्रेटर नोएडा निवेश हब बन गए हैं। देश और विदेश की अन्य बड़ी कंपनियां वहां निवेश की शुरुआत कर चुकी हैं।